ठंड में वायू प्रदुषण से कैसे बचना है। हवा में कई प्रकार की धुआं, रहित, गैस फैले रहती है जो जल्दी आकाश की ओर नहीं जाती। नीचे होने के कारण आम आदमी को शुद्ध हवा लेने में तकलीफ होती है और कई प्रकार के बीमारी से ग्रसीत हो जाते है। ऐसा तब होता है जब कम तापमान और कोहरा मिलकर वातावरण में कंबल की तरह प्रदूषण की एक परत तैयार करते हैं। इस परत पर धूलकण इक_े हो जाते हैं और वापस वातावरण में घूमते रहते हैं। प्रदूषण के बीच इन दिनों स्मॉग शब्द भी बहुत चर्चा में है। स्मॉग दो शब्दों से मिलकर बना एक शब्द है। इसका मतलब है धुंए और धुंध का मिश्रण। आइए जानते हैं प्रदूषण से होने वाली बीमारियों, लक्षण और बचाव के बारे में….
प्रदूषण से होने वाली बीमारियों के लक्षण
-ज़ुकाम होना
-सांस लेने में तकलीफ
-आंखों में जलन
-खांसी, टीबी और गले में में इन्फेक्शन
-साइनस, अस्थमा
-फेफड़ों से सम्बंधित बीमारियां
वायु प्रदूषण से बचाव
-घर से बाहर निकलते वक्त हमेशा मुंह पर मास्क का उपयोग करें। इसके अलावा आंखों पर चश्मा भी लगाएं। ध्यान रखें चेहरे पर लगे मास्क को बार-बार छूना नहीं चाहिए।
-एक मास्क को एक बार ही प्रयोग करें। एक ही मास्क का प्रयोग बार-बार करके आप वायरस और कई तरह के इंफेक्शन फैलाने वाले बैक्टीरिया की चपेट में आ सकते हैं।
-घर के बाहर सड़कों को गीला करके रखें ताकि धूल के दूषित कण हवा में न उड़े पाएं। इसके अलावा घर पर भी साफ सफाई का पूरा ध्यान रखें।
-घर से बाहर तभी बाहर टहलने के लिए निकलें जब पर्यावरण में प्रदूषण का स्तर कम हो।
प्रदूषण से बचाव के लिए ऐसी रखें डाइट-
-खाना खाने के बाद थोड़ा सा गुड़ जरूर खाएं गुड़ खून साफ करता है। इससे आप प्रदूषण से बचे रहेंगे।
-फेफड़ों को धूल के कणों से बचाने के लिए आप रोजाना एक गिलास गर्म दूध जरूर पियें।
– अदरक का रस और सरसों का तेल नाक में बूंद-बूंद कर डालने से भी आप हानिकारक धूल कणों से भी बचे रहेंगे।
– खुद को प्रदूषण के प्रभाव से बचाने के लिए आप ज्यादा से ज्यादा पानी का सेवन करें।
वायु प्रदूषण से बचाव के ये हैं कुछ आयुर्वेदिक उपाय
-शहद में काली मिर्च मिलाकर खाएं, आपके फेफड़े में जमी कफ और गंदगी बाहर निकल जाएगी।
-अजवायन की पत्तियों का पानी पीने से भी व्यक्ति का खून साफ होने के साथ शरीर के भीतर मौजूद दूषित तत्व बाहर निकल जाते हैं।
-तुलसी प्रदुषण से आपकी रक्षा करती है, इसलिए रोजाना तुलसी के पत्तों का पानी पीने से आप स्वस्थ बने रहेंगे।
-ठंडे पानी की जगह गर्म पानी का सेवन करना शुरू कर दें।