भिलाई 02 जनवरी । विश्व विख्यात सुधांशु महाराज ने जयंती स्टेडियम मैदान से मानव जीवन प्रबंधन के बारे में भगवान शिव से जोड़ते हुए बताया कि मानव को तनाव और दबाव की दुनिया से दूर भगवान की चरणों में चले जाना है। ईश्वर दयाल और कृपालु हैं वे सभी पर श्रद्धा भाव रखते हैं। श्रद्धा भाव रखने वालों को कभी किसी चीज की कोई कमी नहीं होती है। भगवान शिव का आयुर्वेद में आया है की मृत्युंजय मंत्र हर परिस्थिति में कारगर है। इस मंत्र से आप कितना भी मानव जीवन में भय और निराशा हो, मृत्युंजय मंत्र का जाप करने से हर रोग अवसाद का समाधान है। मृत्युंजय मंत्र दिव्य ऊर्जा को उत्पन्न करता है ब्रह्मांड की ऊर्जा को खींचता है।
सुधांशु महाराज ने प्रवचन के दौरान साधकों से कहा कि चैतन्य रूप से परम चैतन्य रूप से ही मिला जा सकता है। इस संसार के दो रूप हैं और दो धाराएं बह रही है। दिन के कारण रात हैं , गर्मी के कारण सर्दी, मीठा के कारण नमकीन और कमल के कारण कठोर। हमारा मस्तिष्क दो रूपों में काम करता है। भगवान शिव गृहस्थ भी हैं बैरागी भी यह सन्यासी भी है हमें किस रूप में देखना है चलना है यह शिव के रूप से ही मिलता हैं । सभी जीवों का बेड़ा पार करने वाला भगवान शिव ही है। हर किसी को शिव के अधीन ही रहना है। छत्तीसगढ़ की पावन धरा में स्थित इस्पात नगरी भिलाई मण्डल द्वारा जयंती स्टेडियम में आयोजित चार दिवसीय शिव ज्ञान गंगा महोत्सव का श्रीगणेश देश के जाने माने आध्यात्मिक सन्त एवं मिशन के संस्थापक अध्यक्ष सुधांशु जी महाराज के साथ मण्डल के प्रधान चमनलाल बंसल एवं उनकी धर्मपत्नी श्रीमती कुशल बंसल एवं महामंत्री जयशंकर अग्रवाल ने सामूहिक रूप से दीप प्रज्ज्वलित करके किया। व्यास पीठ पर आने के उपरान्त श्रद्धेय सदगुरुदेव जी का स्वागत एवं अभिनन्दन सर्वश्री चमन लाल बंसल एवं जय शंकर अग्रवाल सहित कई कार्यकर्ताओं ने किया। आज दुर्ग लोकसभा के सांसद विजय बघेल ने महाराज से आशीर्वाद लेकर कथा श्रवण किया। सांसद ने कहा कि आज जो कुछ भी हूं मैं उन्हीं की देन है।सत्संग सभा पर उपस्थित छत्तीसगढ़वासियों सहित देश भर से आए भक्तों को सम्बोधित करते हुए पूज्य महाराज जी ने कहा कि कैसी भी डर व निराशा हो, सबका नाश करने वाला मंत्र है महामृत्युंजय महामंत्र। कृपा बाहर नहीं मिलती, भीतर ही मिलती है। खुद भगवान शिव भी अपने आनंद स्वरूप में पहुंचने के लिए शांत अवस्था में बैठे हुए हैं। भगवान शिव की आराधना करने वाला व्यक्ति कभी भी निराश नहीं होता है। दुःख रूपी अंधेरा को हटाने के लिए महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें। भगवान शक्ति भी और शिव भी दोनों एक ही जगह पर विराजमान हैं। पूज्य श्री सुधांशु जी महाराज ने कहा कि वर्ष 2025 का दूसरा दिवस में उपस्थित आप सभी को स्नेह भरा आशीर्वाद व मंगल हो सबका। सभी मंगलमय कामना पूर्ण हो, परमात्मा दयालु हैं और कृपालु भी हैं।विश्व जागृति मिशन भिलाई मण्डल के प्रधान श्री चमन लाल बंसल जी ने बताया कि पांच वर्षों के बाद हम सबके आराध्य एवं गुरुदेव श्री सुधांशु जी महाराज का आगमन भिलाई में नई ऊर्जा, नया उमंग और नया सन्देश लेकर आए हैं। हम सबका परम सौभाग्य है कि नए वर्ष का शुरुआत इस्पात नगरी से हो रही है। उन्होंने इस ज्ञान यज्ञ में खुद को शामिल करके अपने जीवन में नया उमंग और नया उल्लास जगाकर सनातन को बचाने में अपना योगदान निभाने को कहा। श्री बंसल ने बताया कि “शिव ज्ञान गंगा महोत्सव” का समापन रविवार को सायंकालीन सत्र के साथ सम्पन्न होगा। सुधांशु महाराज का स्वागत चमन लाल बंसल श्रीमती कौशल बंसल ने, सुनील चौरसिया , संदीप खेमका शिवकुमार दवांगन, गणेशराम देशमुख, भीष्म लाल, हरेंद्र दुबे श्रीमती अर्चना परगनिया श्रीमती खेमिन बंछोर श्रीमती अर्चना लक्ष्मी देशमुख मंजू गुप्ता सरोजिनी देवांगन ने किया। महाराज का सम्मान एके दुबे ने गजमाला पहनकार किया।