जो मास्क आपको कोविड-19 से बचा रहा है, वह ओरल हाइजीन (oral hygiene) के लिए हानिकारक है। थोड़ा सचेत रहने से आप इससे बच सकते है। यह आपके लिए बैक-टू-वर्क या बैक-टू-स्कूल का समय है, क्या लंबे समय तक मास्क पहनना जरूरी नहीं हो गया है? क्या आपने कभी सोच है कि कम हवा आपके ब्रीदिंग पैटर्न का ओरल हाइजीन पर क्या असर हो रहा है? बहुत देर तक मास्क पहनने से मास्क माउथ (mask maouth) नामक स्थिति हो सकती है!
कोविड-19 की शुरुआत के साथ मास्क पहनना एक आवश्यकता बन गई है। इस बारे में कई सवाल उठाए गए कि क्या वे सांस लेने में तकलीफ पैदा करेंगे, कार्बन डाइऑक्साइड को बनाए रखेंगे, शरीर में सांसों की बदबू फैलाएंगे और क्या व्यक्ति को घुटन महसूस कराएंगे? समय के साथ, लोगों को मास्क की आदत होने लगी है। विशेषज्ञों के अनुसार सर्जिकल मास्क एन 95 (N 95) की तरह सफ़ोंकेट नहीं करते है। फिर भी, डेन्टिस्ट मास्क माउथ के खिलाफ सावधानी बरतने की सलाह देते हैं।
मास्क माउथ क्या है?
मास्क माउथ लंबे समय तक मास्क पहनने से होने वाले विभिन्न प्रकार के ओरल दुष्प्रभावों का कारण है। मास्क माउथ में मुंह का सूखना, सांसों की दुर्गंध, दांतों की सड़न और यहां तक की मसूड़े की बीमारी भी शामिल हो सकती है।
इन दुष्प्रभावों के कुछ प्रमुख कारण है
1. श्वास पैटर्न में बाधा
एक अध्ययन से पता चलता है कि मास्क पहनने से आपकी श्वास पर गहरा प्रभाव पड़ सकता है। मास्क पहनते समय आप अपने डायाफ्राम के बजाय आपके मुंह, छाती और गर्दन का उपयोग करके अधिक तेज़ सांसे लेते है। आपके मुंह से सांस लेने से लार की मात्रा कम हो जाती है, जो आपके ओरल स्वास्थ्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।
2. डिहाईड्रेशन
मास्क पहनने से भी आप सामान्य से कम पानी पीते हैं। जिसके कारण मुंह सूख सकता है और यह दांतों की सड़न और सांसों की दुर्गंध का खतरा बढ़ाता है।
3. हवा को रीसाइकल करना
रिसर्च के अनुसार, जब आप मास्क पहनते हैं, तो सामान्य से अधिक कार्बन डाइऑक्साइड आपके मुंह में रहता है। कार्बन डाइऑक्साइड की यह मात्रा आपके शरीर पर दुष्प्रभाव नहीं डालती है। हालांकि, यह आपके ओरल माइक्रोबायोम के स्तर को बढ़ाता है, जिससे आपको इन्फेक्शन या मसूड़ों की बीमारी जैसी सूजन की स्थिति का खतरा हो सकता है।
मास्क मयाऑउथ से बचने के उपाय
अन्य स्वास्थ्य संबंधी परेशानियों की तरह मास्क माउथ से बचने के लिए आपको कुछ देखभाल के उपाय अपनाने चाहिए। आइएआप को इसके बारे में बताते हैं।
1. अच्छी ओरल हाइजीन बनाए रखें
दिन में दो बार ब्रश करना न भूले : चाहे सुबह हो या रात, ब्रश करना जरूरी है। बिजी शेड्यूल की वजह से आमतौर पर लोग रात में ब्रश करना भूल जाते हैं या इसे हल्के में ले लेते हैं, लेकिन यही उनकी सबसे बड़ी गलती होती है। मौखिक स्वच्छता बनाए रखने के लिए, दो बार ब्रश करना महत्वपूर्ण आवश्यक बात है।
गम मसाज : आप सभी अपने-अपने स्थानों पर क्वारंटाइन हैं और अपना ख्याल रखने का यह सबसे अच्छा समय है। अपने मसूड़ों के साथ कुछ समय बिताएं क्योंकि वे हमारे दांतों की नींव हैं। स्वस्थ मसूड़े स्वस्थ दांतों के बराबर होते हैं। अपनी पसंद के तेल (जैतून का तेल, विटामिन ई का तेल, बादाम का तेल) से सुबह और शाम 5 मिनट के लिए मालिश करने से आपके मसूड़े स्वस्थ रहेंगे।
जीभ की सफाईक को दें प्राथमिकता : दिन में एक बार ग्लिसरीन और कॉटन पैड से जीभ की सफाई न केवल आपको एक प्यारी, स्वस्थ गुलाबी जीभ देगी बल्कि बैक्टीरिया मुक्त ओरल हाइजीन भी मिलेगा।
माउथ वॉश : हर भोजन के बाद अपनी पसंद के माउथ वॉश से 2-3 बार अपना मुंह कुल्ला करें। सर्वोत्तम परिणामों के लिए इसे कम से कम 30 सेकंड के लिए घुमाएँ।
2. खूब पानी पिएं
चूंकि आप ऑफिस और सार्वजनिक स्थानों पर लंबे समय तक मास्क को हटाने से बचते हैं, इसलिए खुद को पर्याप्त रूप से हाइड्रेट करना और लगातार अंतराल के बाद पानी पीना आपके लिए एक चुनौती बन जाती है। इससे मुंह सूख सकता है। इससे जुड़ी अन्य स्थितियां भी हो सकती हैं। इसलिए, चुनौती के बावजूद पर्याप्त पानी पिया करें।
3. ध्यान और श्वास व्यायाम करें
जब आप हर समय मास्क पहनते हैं, तो आपका श्वास प्रभावित होता है। इसलिए यदि आप कपालभाति, अनुलोम विलोम और भ्रामरी के रूप में प्राणायाम करें और अपने श्वास पर काम करना शुरू कर दें। इससे आप अपने स्वास्थ्य को ठीक रख सकते हैं।
4. अपने चेहरे और होंठों को मॉइस्चराइज रखें
मॉइस्चराइजर का भरपूर इस्तेमाल करें। लिप बाम लगाना एक अच्छा विचार है। जिस कमरे में आप मास्क लगाकर काम कर रहे हैं, वहां ह्यूमिडिफायर का इस्तेमाल करने से भी मदद मिल सकती है। कमरे में बस थोड़ी सी नमी आपके समस्या का समाधान कर सकती है।
5. लोज़ेंग और च्युइंग गम का इस्तेमाल करें
शुगर फ्री लोजेंज और च्युइंग गम चबाने से मुंह को नम रखने में मदद मिलेगी और कैविटी की स्थिति को नियंत्रित करने के अलावा लार में भी वृद्धि होगी। एसिडिटी को कम करने के लिए प्रोबायोटिक्स को अपने आहार में शामिल करें।